दलित, आदिवासी समेत सभी वंचित तबके के हक़ और इंसाफ के लिए खड़ा हो मुसलमान: मौलाना महमूद मदनी

Spread the love

-अमन और इंसाफ़ कॉन्फ्रेंस में 24 जिले से जुटे लोग, देश भर से रांची पहुंचे धार्मिक विद्वान, संगठन प्रमुख, सोशल एक्टिविस्ट और पत्रकारों ने किया संबोधित
कहा-देश में अमन शांति और भाईचारे के पैगाम की जरूरत

रांची : जमीयत उल्मा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना महमूद मदनी ने कहा है कि मुसलमानों को बदलते हालात में मायूस होने की जरूरत नहीं है। वो किसी भी बात पर रिएक्ट ना करे, बल्कि सकारात्मक रिस्पांस दे। यह देश अल्पसंख्यकों की बहु संख्यक आबादी वाला है। जिसमें दलित, आदिवासी और धार्मिक अल्पसंख्यकों की बड़ी आबादी रहती है। उन्होंने मुसलमानों से आह्वान किया कि वे समाज के वंचित तबके के हक़ और इंसाफ के लिए आगे आएं। उनके दुख सुख में काम आएं। मौलाना मदनी रांची कडरू के हज हाउस में आयोजित शांति और न्याय कांफ्रेंस में बोल रहे थे। आयोजन इमारत शरीया (बिहार, झारखंड व उड़ीसा) की अगुवाई में जमीयत अहले हदीस, जमात-ए-इस्लामी, जमीयत उल्मा-ए-हिंद, जमात अहले सुन्नत और ऑल इंडिया मिली काउंसिल ने संयुक्त रूप से किया था। जिसमें सूबे के 24 ज़िले से आए लोगों को संबोधित करते हुए मौलाना मदनी ने कहा कि अमन, मोहब्बत और भाईचारे का पैगाम घर घर पहुंचाएं। शपथ लें हम किसी के साथ अन्याय नहीं होने देंगे। कहा कि झारखंड में बड़ी आबादी आदिवासियों की है। उन्हें अपने साथ जोड़ें। उनकी समस्या को देखें। दूसरे के हक के लिए लड़ें। उन्होंने मीडिया की भूमिका की आलोचना भी की।
गांधी के नैतिक मूल्यों को अपनाने की जरूरत: ज्यां द्रेज
अर्थशास्त्री व एक्टिविस्ट
ज्यां द्रेज ने महात्मा गांधी से सीख लेने की जरूरत पर बल दिया। कहा कि बिना नैतिक मूल्यों के बेहतर समाज की कल्पना नहीं की जा सकती। स्कूली कोर्स में नैतिकता की पढ़ाई जरूरी है। दिल्ली से आए वरिष्ठ पत्रकार प्रशांत टंडन ने कहा कि व्हाट्स यूनिवर्सिटी से दीक्षित लोग अब सदन तक में पहुंच गए हैं। उनका इशारा भाजपा सांसद रमेश बिधूड़ी की ओर था। कहा कि अब तक इनपर किसी प्रकार की कार्यवाही नहीं की गई है। आज संविधान पर संकट है। संविधान के रचयिता बाबा साहब डॉ. बीआर अंबेडकर ने कहा था कि संविधान यदि बुरे लोगों के हाथ में पड़ गया तो परिणाम भी वैसा ही सामने आएगा। गुजरात से आए आदिवासी एकता परिषद के महासचिव अशोक चौधरी ने संविधान से प्राप्त अधिकारों और कर्तव्यों के प्रचार-प्रसार की बात कही। कहा कि संविधान से ही देश को चलना है।
सभ्यता संस्कृति के आत्महत्या का समय: सआदत हुसैनी
मौके पर जमात इस्लामी के प्रमुख (अमीर) सैयद सआदत उल्लाह हुसैनी ने समाजशास्त्री टॉयनबी के हवाले से कहा कि अभी देश सभ्यता संस्कृति के आत्महत्या के काल में है। हर ओर से नाइंसाफी और भेदभाव की घटनाएं सामने आती हैं। इससे बचाव करने और उबरने की जरूरत है। डर के आगे जीत है। किसी से डरने की जरूरत नहीं है। हिंदू, मुस्लिम, सिख, ईसाई और आदिवासी सभी को मिलजुलकर इसी मुल्क में प्यार और भाईचारे के साथ रहना है। जमीयत अहले हदीस के अमीर मौलाना असगर इमाम मेहदी सल्फी ने कुरआन के हवाले से साभार में हौसले का संचार किया।
गेंद की तरह उछाला जा रहा लोकतंत्र: मौलाना रहमानी
ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के महासचिव मौलाना सैयद फैसल रहमानी ने कहा कि एकता में ही बल है। उन्होंने देश के सभी वर्गों से एकजुट होकर संविधान की रक्षा करने की अपील की। कहा कि देश में अभी प्रेम, सद्भाव की जरूरत है। क्योंकि हर नागरिक के मन में डर पैदा कर दिया गया है।
120 करोड़ को समझा दिया गया है कि वे खतरे में हैं। हर कोई असुरक्षित समझ रहा है।इसलिए शांति और अमन के लिए ऐसी कॉन्फ्रेंस जरूरी है। लोकतंत्र को गेंद की तरह उछाला जा रहा है। सभी को मिल जुलकर शांति के लिए काम करने की जरूरत है।
मुसलमानों के बीच चार विवाह पर कहा कि सरकारी आंकड़ा बताता है कि मुसलमानों में बहु विवाह बहुत कम होता है।
इन्होंने भी किया संबोधित
सभा को रांची शहर क़ाज़ी मौलाना तौफीक अहमद क़ादरी,
झारखंड राज्य अल्पसंख्यक आयोग के उपाध्यक्ष ज्योति सिंह मथारू, रतन तिर्की, फादर एलेक्स, चैबर अध्यक्ष किशोर कुमार मंत्री, प्रेमचंद मुर्मू, ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के उपाध्यक्ष मौलाना अनिसुर्रहमान क़ासमी, जमात इस्लामी के मुज्तबा फारूक और मौलाना शिबली अल क़ासमी आदि ने भी संबोधित किया। कहा कि देश बंटा नहीं बांटने की कोशिश की जा रही है। शांति और न्याय संकट में है। महात्मा गांधी की नैतिकता की, अमन और भाईचारे की जरूरत है।
संविधान की प्रस्तावना का हुआ पाठ
कार्यक्रम में बलराम ने संविधान की प्रस्तावना का पाठ कराया।
मौके पर इमारत शरीया रांची के मुफ्ती क़ाज़ी मोहम्मद अनवर क़ासमी, मौलाना सोहराब नदवी, मौलाना नुमान हक के अलावा इबरार अहमद, नदीम खान, तनवीर अहमद, रूमी हसन रूमी, अफजल अनीस समेत शहर के कई प्रमुख लोग उपस्थित थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *