लोकतंत्र बचाओ 2024 अभियान प्रतिनिधिमंडल राहुल गांधी से मिलके मुद्दों पर व्यापक चर्चा की

Spread the love

आज लोकतंत्र बचाओ 2024 अभियान प्रतिनिधिमंडल भारत जोड़ो न्याय यात्रा पर निकले कांग्रेस नेता राहुल गांधी से इरबा सभा से पूर्व मिलकर झारखंड के जमीनी मुद्दों और 2024 लोकसभा चुनाव पर व्यापक चर्चा किया और संलग्न मांग पत्र दिया।

प्रतिनिधिमंडल ने राहुल गांधी को कहा कि अभियान का स्पष्ट मानना है कि मोदी सरकार, आरएसएस व भाजपा समाज, झारखंड, देश, लोकतंत्र, संविधान और मेहनतकश वर्ग के लिए सबसे बड़े खतरे हैं. इसे खतम किया जा रहा है। इन खतरों से लड़ने की दिशा में भारत जोड़ो न्याय यात्रा एक सकारात्मक पहल है. इस पहल को मजबूती से 2024 लोकसभा चुनाव में जनता की लड़ाई तक तक ले जाने के लिए इस संघर्ष में सभी लोकतंत्र पसंद लोगों, संगठनों और पार्टियों को मिलकर जन मुद्दों पर साझा ज़मीनी संघर्ष करने की ज़रूरत है. साथ ही, जल्द-से-जल्द सीट वार गठबंधन तय होना चाहिए एवं जनता की मांग अनुरूप व क्षेत्र की सामाजिक स्थिति के अनुसार साझा स्थानीय प्रत्याशी की भी ज़रूरत है.

प्रतिनिधिमंडल ने मोदी सरकार व भाजपा के हमलों जैसे देश को हिंदू राष्ट्र बनाना, सांप्रदायिकता, UAPA, CAA समेत दमनकारी कानून, आदिवासी-दलितों को फर्जी मामले में फंसाना, बढ़ती गैर बराबरी, बेरोजगारी, बहुजन समाज की नौकरी में कम प्रतिनिधित्व आदि पर विस्तृत चर्चा किया। कांग्रेस पार्टी समेत सभी विपक्षी गठबंधन को मोदी सरकार के विनाशकारी नीतियों के विरुद्ध जन पक्षीय कानूनों व नीतियों के लिए स्पष्ट व साझा प्रतिबद्धता दर्शाने की ज़रूरत है. राहुल गांधी मुद्दों को माने और अपने विचार रखे।
दल ने इस ओर निम्न सुझाव दिया:

1) कई दशकों के संघर्ष के कारण देश में जन अधिकारों का विस्तार हो रहा था जिसे मोदी सरकार ने ख़तम कर दिया है. देश को फिर से जन अधिकारों के विस्तार की दिशा में बढ़ने की ज़रूरत है.
2) व्यापक बेरोज़गारी से लड़ने के लिए अब सम्मानजनक मजदूरी के साथ व्यापक काम के सार्वजानिक अधिकार सुनिश्चित करने की ज़रूरत है.
3) आदिवासियों व ग्राम सभा का जल, जंगल, ज़मीन पर पूर्ण अधिकार सुनिश्चित करने की ज़रूरत है. ग्राम सभा की सहमति व भागीदारी से ही खनन हो. भूमिहीन परिवारों, खास कर दलितों, को पर्याप्त भूमि पट्टा का आवंटन हो. जाति जनगणना किया जाए व आदिवासी,दलित व पिछड़ों को अनुपात अनुसार हर क्षेत्र में शिक्षा, नौकरी व प्रोन्नति में पर्याप्त आरक्षण सुनिश्चित किया जाना चाहिए.
4) सभी जन विरोधी कानूनों व प्रावधानों – UAPA, NSA, PMLA नए प्रावधान, CAA-NRC आदि – को निरस्त करने की ज़रूरत है. पुलिस, अर्धसैनिक बलों व आर्मी को जनता के प्रति जवाबदेह बनाने की ज़रूरत है.
5) संसदीय व लोकतांत्रिक व्यवस्था में लोगो के विश्वास को फिर से स्थापित करने की ज़रूरत है. इसके लिए इलेक्टोरल बांड व्यवस्था को निरस्त कर चुनावी चंदे को पारदर्शी करने की ज़रूरत है.
6) समाज में बढ़ते धार्मिक बहुसंख्यकवाद और धार्मिक हिंसा को रोक के लिए धर्मनिरपेक्षता स्थापित करने की ज़रूरत है.

प्रतिनिधिमंडल में राज्य के विभिन्न जिलों व अभियान से जुड़े संगठनों के निम्न सदस्य भाग लिए – अफ़जल अनीस, अंबिका यादव, अलोका कुजूर, दिनेश मुर्मू , एलिना होरो, प्रवीर पीटर, पी एम टोनी, प्रियशीला बेसरा, रोज़ खाखा और सिराज दत्ता।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *